खंडहर बन चुका सुएकीन द्वीप - सुदान, SUAKIN ISLAND - SUDAN

Suakin island sudan

सुएकीन द्वीप शहर उत्तर - पुर्वी सुदान का पुर्व आफ्रिकन तट पे बसा व्यापार और सांस्कृति के लिए महत्वपुर्ण बंदरगाह था ! यह शहर लाल सागर के पश्चिमी तट के सपाट सतह और अंडाकृती आकार के द्वीप पर स्थित है ! एक संकीर्ण रास्ते से चार किलोमीटर अंतराल के बाद अंदर की तरफ प्रवेश करता है और लगभग दो किलोमीटर की दुरी पर एक विस्तृत उथले पानी मे जाके समाप्त हो जाता है ! उथले पानी में दो गोल प्रवाल द्वीप हैं ! एक द्वीप पर कब्रिस्तान के सिवा कुछ भी नही है और दुसरा द्वीप दक्षिण मे है जो सुएकीन के नाम से जाना जाता है ! यह द्वीप मानव निर्मित पुल द्वारा मुख्य भुमि से जुडा हुआ है !

२० वी सदी के शुरुआत मे उत्तरी इलाके मे जब पोर्ट सुदान यह नया बंदरगाह बनाया गया तब सुदान का एक बार मुख्य बंदरगाह रह चुके सुएकीन ने अपने महत्व को खो दिया ! कुछ सदियों के पश्चात सुएकीन धीरे धीरे अपनी आबादी को खोता चला गया जब तक वह भुतीया शहर मे तब्दील न हो जाए ! 

सुएकीन का प्रारंभिक इतिहास ज्यादातर अब भी अस्पष्ट है क्योंकि इस जगह को कभी भी सावधानीपूर्वक पुरातात्विक अनुसंधान के अधीन नहीं किया गया, हालांकि कई ऐतिहासिक खातों और यात्रीयों की कहानियों में इस बंदरगाह का उल्लेख किया गया है ! सुएकीन को रोमन बंदरगाह माना गया है, लायमेन ईवांगेलीस लिखते है की यह लंबे चक्राकार रुप मे फैले हुए प्रवाल द्वीप है ! सुएकीन नाम का पहला वास्तविक संदर्भ १० वीं सदी के अल-हमदानी से आता है जो कहता है कि यह पहले से ही एक प्राचीन शहर था !

उस समय मे सुएकीन लाल सागर मे स्थित आयधाब बंदरगाह का प्रतिद्वंद्वी था, जो इजिप्त के करीब होने के साथ साथ सीधे उसके नियंत्रण मे था ! इजिप्त ने स्वदेशी बेजा जनजाती द्वारा सुएकीन पर नियंत्रण रखने की कोशिश की और इस वजह से दोनो मे बार लगातार संघर्ष होता रहा ! १५ वीं सदी के उत्तरार्ध में आयधाब के पतन के साथ दोनों बंदरगाहों के बीच प्रतिद्वंद्विता समाप्त हो गई ! तब से सुएकीन लाल सागर के तट पर एक मुख्य बंदर बन गया ! सन १९२२ तक यानी पोर्ट सुदान के उद्घाटन तक अपनी प्रतिष्ठा को बनाए रखा ! 

बंदरगाह के हस्तांतरण के बाद सुएकीन की प्रतिष्ठा मे तीव्र रुप से गिरावट की शुरुआत हुई ! एक दशक के भीतर घाट गायब हो गया था और बंदरगाहों के किनारे ढलने शुरु हो गए थे जिस वजह से बड़े जहाजों की प्रवेश पे रोख लगा दी गई ! बहुत कम लोगों के शहर मे बने रहने से १९३० के दशक के अंत तक सुएकीन द्वीप पूरी तरह से निर्जन हो गया ! 

Ruins of suakin island

आज द्वीप की हालत खंडहरों की तरह हो गयी है ! एक बार शानदार कोरल पत्थर से बनी इसकी सुंदर इमारते आज ढहने की कगार पे है ! यहां तक ​​कि ढहते हुए खंडहरों के बीच आप शहर की स्थापत्य विविधता में दिखाई देने वाले विनीशियन से लेकर ओटोमन तक विभिन्न संस्कृतियों का एक समृद्ध मिश्रण देख सकते हैं ! शहर के कुछ हिस्सों को अब बहाल किया गया है, द्वीप के उत्तरी छोर पर कुछ नया निर्माण भी दिखाई देता है !

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